मुगलों ने भारत पर कई सौ सालों तक राज किया। आज भी इतिहास की किताबों में मुगलों के बारे में काफी बढ़चढ़ कर बताया जाता है। हालांकि कुछ इतिहासकारों के अनुसार सच्चाई बिलकुल इससे उल्ट थी क्योंकि उन्होंने मुगलों को पूरी तरह से दरिंदे करार दिया है और जिसके जीते जागते साबुत आज भी देखने को मिलते है।
इन सबमे एक सवाल ये भी निकलकर सामने आता है की मुगलों में ज्यादातर उन्ही बहन बेटियां बिना ब्याही ही रह जाती थी। इतिहास उठाकर देखने पर भी ऐसे बहुत से सबूत आपको देखने को मिलेंगे जिसमे मुगलों की बेटियों को कुंवारी ही रहना पड़ता था। मुगलों के बादशाह अकबर की ही बात क्र लीजिये – उसकी भी तीन बेटियों की शादी नहीं हुई थी और वे कुंवारी ही मर गई थी। तो आखिर इसके पीछे का क्या कारण है की मुग़ल अपनी बहनों और बेटियों की शादी नहीं करते थे। चलिए जानते है इसके बारे में पूरी डिटेल के साथ में।
राजपूतों ने मुस्लिम बहु लेने से इंकार किया
मुगलों की बेटियों के बिना ब्याही रहने के पीछे बहुत सारे कारण निकलकर सामने आते है। हालांकि मुगलों के ज़माने में राजपूतों को वे अपने बराबर का मानते थे और उन्हीने राजपूतों में अपनी बेटियों के सम्बन्ध स्थापित करने की कोशिश की थी। लेक्किन राजपूतों ने अपनी बेटियों को तो मुगलों में ब्याहना स्वीकार कर लिया था लेकिन मुग़ल बेटियों को ब्याहकर अपने यहां लेकर आना स्वीकार नहीं किया था।
इसके पीछे उनका मानना था की अगर ऐसा किया जाता है तो एक मुस्लिम लड़की उनके घर में आएगी जिसकी वजह से उनका धर्म भ्र्स्ट हो जायेगा। राजपूतों के मना करने के बाद एम् मुगलों को भारत में अपनी बराबरी करने वाले दूसरे कोई और रिश्ते अपनी बेटियों के लिए नहीं मिलते थे और यही वजह भी थी की उनकी बेटियों को कुंवारी ही रहना पड़ता था।
भारतीय संस्कृति भी बन रही थी रुकावट
भारतीय संस्कृति में आज भी दामाद को एक बहुत ही ऊँचा दर्जा दिया जाता है और दामाद के आगे हमेशा झुक कर रहना पड़ता है। मुगलों के ये भी मानना था की अगर उनकी बराबरी का रिस्ता उनकी बेटियों के लिए नहीं मिलता है तो फिर किसी के साथ भी बेटी की शादी करने पर उनको उसके सामने सर झुकना पड़ेगा। बराबरी के रिश्ते के लिए मुग़ल भारत के अलावा ईरान में ही अपनी बेटियों की शादी कर सकते थे लेकिन वो भारत से काफी दूर पड़ता था। किसी के सामने भारत में सर ना झुकना पड़े इसके चलते मुग़ल अपनी बेटियों की शादी ही नहीं करते थे।
शासन के लिए खतरा भी रहता था
मुगलों को ये भी दर हमेशा रहता था की अगर भारत में किसी के साथ में भी उनकी बेटी का रिश्ता कर दिया था फिर उनका दामाद आगे चलकर उनके शासन के लिए खतरा बन सकता है। इसका उदहारण भी इतिहास में मिलता है जिसमे कबर की बहन के शौहर शरीफ उद्दीन ने मुगल शासन के लिए अकबर पर ही हमला कर दिया था।
इस बजह से भी मुग़ल अपनी बेटियों की शादी करने के डरते थे। मुगलों में इस वजह से बेटियों की शादी नहीं की जाती थी। कुछ की शादी हुई भी तो वो उन्होंने आपस में ही अपने चाचा ताऊ के लड़कों के साथ में ही की थी। हालांकि इसकी शुरुआत अकबर के समय में हुई थी और बाद में मुगलों के अंत तक ऐसा ही चलता रहा था।